Una: गरीब बेटियों के लिए वरदान बनी मुख्यमंत्री कन्यादान योजना, ऊना में 14 परिवारों को मिला सहारा
हिमाचल सरकार की मुख्यमंत्री कन्यादान योजना गरीब परिवारों की बेटियों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है। यह योजना आर्थिक रूप से कमजोर परिवारों को उनकी बेटियों के विवाह को गरिमा और सम्मान के साथ सम्पन्न कराने में महत्वपूर्ण सहारा देती है। योजना के तहत पात्र परिवारों को 51 हजार रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है, जो केवल विवाह के खर्चों में मदद नहीं करती, बल्कि बेटियों के जीवन की नई शुरुआत को खुशहाल और उज्ज्वल बनाने में भी सहायक होती है। ऊना उपमंडल के बहडाला गांव की सुषमा देवी, जिनकी बेटी शालिनी की दिसम्बर 2023 में शादी हुई है, बताती हैं कि उनका परिवार बीपीएल श्रेणी में आता है। पति के निधन के बाद चार बच्चों की पढ़ाई और परवरिश की पूरी जिम्मेदारी उनके कंधों पर आ गई थी। बेटी की शादी का खर्च जुटाना उनके लिए सबसे बड़ी चिंता थी। सुषमा देवी बताती हैं कि इस दौरान उन्हें पता चला कि बीपीएल परिवारों की बेटियों की शादी के लिए प्रदेश सरकार की ओर से 51 हजार रुपये की आर्थिक मदद दी जाती है। उन्होंने स्थानीय आंगनबाड़ी कार्यकर्ता से सम्पर्क कर योजना का लाभ लेने के लिए आवेदन किया और मुख्यमंत्री कन्यादान योजना से मिली यह सहायता उनके लिए किसी संजीवनी से कम नहीं रही। सुषमा देवी कहती हैं कि यह योजना गरीब परिवारों की बेटियों के लिए सम्मान से जुड़ा बड़ा सहारा है। इसके लिए वे मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू का दिल से धन्यवाद करते नहीं थकतीं। वहीं, लाभार्थी शालिनी कहती हैं कि सरकार की इस मदद से शादी का खर्च आसानी से पूरा हुआ। यह देखकर और भी खुशी हुई कि प्रदेश सरकार उनकी तरह के सब गरीब परिवारों की बेटियों के लिए अभिभावक की तरह संवेदनशील है। जिला कार्यक्रम अधिकारी (आईसीडीएस) ऊना, नरेंद्र कुमार का कहना है कि मुख्यमंत्री कन्यादान योजना गरीब परिवारों की बेटियों की शादी में संबल का काम कर रही है। उन्होंने बताया कि बीते डेढ़ साल में ऊना जिले के 14 पात्र परिवारों को कुल 7 लाख 14 हजार रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जा चुकी है। उनका कहना है कि योजना का लाभ हर पात्र लाभार्थी तक पहुंचे, इसके लिए विभाग निरंतर प्रयासरत है। विभागीय अधिकारी, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और पर्यवेक्षक सामूहिक रूप से फील्ड स्तर पर सक्रियता से काम कर रहे हैं। नरेंद्र कुमार बताते हैं कि मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के तहत बेसहारा लड़कियां जिनके पिता की मृत्यु हो चुकी हो, नारी सेवा सदन की पूर्व प्रवासिनियां या उपेक्षित हों, परित्यक्त, तलाकशुदा महिलाओं की पुत्रियां अथवा जिनके पिता शारीरिक या मानसिक विकलांगता के कारण अपनी आजीविका कमाने में असमर्थ हों तथा कन्याओं के संरक्षकों की वार्षिक आय 50 हजार रूपये से अधिक न हो, सभी इस योजना का लाभ लेने के पात्र होंगे। इस योजना के तहत कन्या के विवाह के लिए एक निर्धारित प्रपत्र पर सम्बन्धित तहसीलदार से सत्यापित आय प्रमाण पत्र सहित आवेदन करने के उपरांत सरकार द्वारा 51 हजार रुपये की राशि प्रदान की जाती है। जिला कार्यक्रम अधिकारी ने बताया कि पात्र लाभार्थी जिला कार्यक्रम अधिकारी, बाल विकास परियोजना अधिकारी, पर्यवेक्षक या आंगनवाड़ी कार्यकर्ता से संपर्क कर सकते हैं। आवेदन विवाह की तिथि से दो माह पूर्व से लेकर विवाह की तिथि के बाद छह माह के भीतर किया जा सकता है। उपायुक्त ऊना जतिन लाल का कहना है कि मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू के निर्देशानुरूप जिला प्रशासन मुख्यमंत्री कन्यादान योजना समेत सरकार की सभी कल्याणकारी योजनाओं का लाभ हर पात्र लाभार्थी तक प्रभावी ढंग से पहुंचाने के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है। गरीब परिवारों की बेटियों के विवाह में आर्थिक संबल देने के लिए यह योजना सक्रिय रूप से लागू की जा रही है और प्रशासन लगातार आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों को लाभान्वित करने में जुटा है।
- Source: www.amarujala.com
- Published: Sep 08, 2025, 16:40 IST
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