भारत-पाक संघर्ष में कूदा चीन: ट्रंप के बाद अब ड्रैगन भी दिखा रहा मध्यस्थता की चाहत, लेकिन डार को ठंडा स्वागत
चीन ने कहा कि वह भारत और पाकिस्तान के बीच स्थायी संघर्षविराम के लिए रचनात्मक भूमिका निभाएगा। पाकिस्तान के उपप्रधानमंत्री और विदेश मंत्री मोहम्मद इशाक डार शीर्ष चीनी राजनयिक वांग यी के साथ वार्ता के लिए बीजिंग पहुंचे हैं। ऑपरेशन सिंदूर के बाद सोमवार को तीन दिवसीय यात्रा पर पहुंचे डार चीन की यात्रा करने वाले पहले उच्चस्तरीय पाकिस्तानी अधिकारी-नेता हैं। बता दें कि भारत ने पहलगाम हमले के जवाब में 7 मई को पाकिस्तान और उसके कब्जे वाले कश्मीर में आतंकवादियों के ठिकानों पर हमला किया था। ऑपरेशन सिंदूर के जवाब में पाकिस्तान ने चीन और तुर्किये निर्मित कई हथियारों से भारत पर हमला किया लेकिन भारत ने इन्हें नाकाम कर दिया। डार की चीन यात्रा पर क्या होगा डार का बीजिंग एयरपोर्ट पर फीका स्वागत किया गया। उन्हें लेने के लिए चीन का कोई वरिष्ठ अधिकारी या मंत्री भी नहीं पहुंचा। डार के इस यात्रा के दौरान अपने सदाबहार मित्र चीन के साथ सिंधु जल संधि समेत विभिन्न मुद्दों पर चर्चा करने किए जाने की उम्मीद है। चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता माओ निंग ने कहा कि चीन और पाकिस्तान सदाबहार रणनीतिक सहयोगी साझेदार हैं। डार की यह यात्रा पाकिस्तान सरकार की ओर से चीन को दिए जाने वाले महत्व को दर्शाती है। ये भी पढ़ें:-बदलेगा कानून: निजी निवेश के लिए खुलेगा परमाणु ऊर्जा क्षेत्र, मानसून सत्र में संशोधन पेश किए जाने की संभावना 'दोनों पड़ोसियों से संबंधों को देते हैं महत्व' माओ निंग ने कहा कि भारत और पाकिस्तान के बीच हालात के बारे में चीन ने कई मौकों पर अपनी स्थिति स्पष्ट की है। हम दोनों पक्षों के साथ संवाद बनाए रखने और पूर्ण तथा स्थायी संघर्षविराम को साकार करने और क्षेत्रीय शांति व स्थिरता बनाए रखने में रचनात्मक भूमिका निभाने के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा कि भारत और पाकिस्तान चीन के महत्वपूर्ण पड़ोसी हैं तथा चीन दोनों देशों के साथ अपने संबंधों को अत्यधिक महत्व देता है। माओ ने आपसी संबंध में मजबूती पर दिया जोर माओ ने आगे कहा कि चीन सभी पड़ोसी देशों के साथ संबंध विकसित करने में सौहार्दपूर्ण, सुरक्षित और समृद्ध पड़ोस, मैत्री, ईमानदारी, पारस्परिक लाभ और समावेशिता के सिद्धांत तथा साझा भविष्य के दृष्टिकोण को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि जब से भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ना शुरू हुआ था, चीन ने एक वस्तुनिष्ठ और न्यायसंगत रुख अपनाया है। ये भी पढ़ें:-एम्फी की रिपोर्ट: म्यूचुअल फंड उद्योग ने छुआ नया शिखर, एयूएम 65.74 लाख करोड़ और SIP निवेश में 45% की छलांग इसके साथ ही उन्होंने दोनों देशों से शांति और संयम बरतने तथा तनाव को बढ़ने से रोकने का आग्रह किया। हम भारत और पाकिस्तान के बीच संघर्षविराम का समर्थन और स्वागत करते हैं। हम पूर्ण और स्थायी संघर्षविराम सुनिश्चित करने तथा क्षेत्रीय शांति और स्थिरता को बनाए रखने के लिए रचनात्मक भूमिका निभाने के लिए तैयार हैं।
- Source: www.amarujala.com
- Published: May 20, 2025, 05:22 IST
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