एजेंट ने जर्मनी का कहकर रूस भेजा: युद्ध के दौरान बम विस्फोट में मौत, कैथल में डेढ़ माह बाद पहुंचा शव
थाना सीवन क्षेत्र के गांव जनेदपुर का 22 वर्षीय युवक कर्मचंद विदेश जाने के सपनों में ऐसा उलझा कि उसकी जिंदगी रूस-यूक्रेन युद्ध की आग में खत्म हो गई। जर्मनी भेजने का भरोसा दिलाकर एक एजेंट ने उसे धोखे से रूस भेज दिया, जहां उसे रूस की सेना में भर्ती कर दिया गया। युद्ध के दौरान 6 सितंबर को बम विस्फोट में उसकी मौत हो गई। करीब डेढ़ महीने बाद शुक्रवार देर रात उसका शव गांव पहुंचा तो पूरे इलाके में मातम छा गया। परिजनों के अनुसार, कर्मचंद 7 जुलाई को एजेंट के जरिए विदेश गया था। एजेंट ने उससे 8 लाख रुपये लेकर जर्मनी भेजने का वादा किया था, लेकिन इसके बजाय उसे रूस भेज दिया गया। वहां एजेंट के संपर्कों के माध्यम से उसे रूस की सेना में भर्ती करवा दिया गया। कुछ ही हफ्तों में उसे युद्ध क्षेत्र में भेज दिया गया, जहां 6 सितंबर को बम गिरने से उसकी मौत हो गई। एजेंट पर दर्ज हुआ केस परिजनों की शिकायत पर पुलिस ने एजेंट के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। परिवार का आरोप है कि एजेंट ने जर्मनी भेजने के नाम पर धोखा देकर बेटे की जान ले ली। परिजन बोले- विदेश में लड़ा, शहीद का दर्जा मिले ः कर्मचंद के पिता देशराज और माता सुनीता ने कहा कि उनका बेटा भारतीय सेना में भर्ती होकर देश की सेवा करना चाहता था, लेकिन चयन न होने पर उसने विदेश जाकर वही सपना पूरा करने की ठानी। उन्होंने सरकार से मांग की कि युद्ध में मारे गए कर्मचंद को शहीद का दर्जा दिया जाए और परिवार को आर्थिक सहायता प्रदान की जाए। साथ ही उन्होंने बेटी को सरकारी नौकरी देने की भी गुहार लगाई। गांव में पसरा सन्नाटा कर्मचंद के परिवार में माता-पिता और दो बहनें हैं। बड़ी बहन की शादी हो चुकी है, जबकि छोटी बहन अभी अविवाहित है। इकलौते बेटे की मौत से परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है। गांव के लोग इस घटना से स्तब्ध हैं और एजेंट के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। टेलीग्राम से 13 दिन बाद मिली खबर परिवार को कर्मचंद की मौत की जानकारी 13 दिन बाद 19 सितंबर को मिली, जब रूस की सेना में उसके साथ कार्यरत एक अन्य भारतीय युवक ने टेलीग्राम ऐप के माध्यम से उसके चचेरे भाई को सूचना दी। इसके बाद परिवार ने स्थानीय प्रशासन और विदेश मंत्रालय से संपर्क साधा। लंबी कागजी प्रक्रिया के बाद 17 अक्तूबर को कर्मचंद का पार्थिव शरीर भारत लौटा। शनिवार सुबह जब शव जनेदपुर पहुंचा, तो गांव का माहौल गमगीन हो गया। ग्रामीणों और परिजनों की आंखें नम थीं।
- Source: www.amarujala.com
- Published: Oct 19, 2025, 06:42 IST
एजेंट ने जर्मनी का कहकर रूस भेजा: युद्ध के दौरान बम विस्फोट में मौत, कैथल में डेढ़ माह बाद पहुंचा शव #Crime #Kaithal #Haryana #HaryanaCrime #CrimeNews #HaryanaPolice #SubahSamachar